বৃহস্পতিবার, জুন 19

FATF: अंतरराष्ट्रीय वित्तीय स्थिरता के लिए एक आवश्यक संस्था

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FATF का परिचय

वित्तीय कार्रवाई कार्य बल (FATF) एक अंतरराष्ट्रीय संगठन है जिसका गठन 1989 में मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवादी वित्तपोषण से मुकाबला करने के उद्देश्य से किया गया था। इस संगठन का मुख्यालय पेरिस, फ्रांस में स्थित है। FATF अपने सदस्यों देशों को मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवादी गतिविधियों को रोकने के लिए नीतियाँ और दिशा-निर्देश प्रदान करता है।

FATF का वैश्विक असर

FATF ने हाल ही में अपने सदस्यों और भागीदार देशों को कई नई नीतियाँ दी हैं जो वित्तीय प्रणाली के कानूनों को और मजबूत बनाने में मदद करती हैं। विशेष रूप से, FATF ने उन देशों की सूची प्रकाशित की है जो आतंकवादी वित्तपोषण के लिए उच्च जोखिम वाले माने जाते हैं। वर्तमान में, पाकिस्तान और अफगानिस्तान जैसे देशों को ‘ग्रे लिस्ट’ में रखा गया है, जिसका मतलब है कि उनके वित्तीय प्रणाली में सुधार की आवश्यकता है।

2023 में FATF की गतिविधियाँ

2023 में, FATF ने कई महत्त्वपूर्ण बैठकों का आयोजन किया। इनमें से एक प्रमुख बैठक अक्टूबर में हुई, जिसमें सदस्यों ने अपने प्रगति रिपोर्ट पेश किए। इस बैठक में FATF ने सदस्य देशों को अपने कानूनों को और मजबूत करने की सलाह दी, ताकि मनी लॉन्ड्रिंग को प्रभावी तरीके से रोका जा सके। इसके अलावा, FATF ने नए प्रकार के धन शोधन विधियों की पहचान करने पर भी जोर दिया।

भारत की भूमिका

भारत, FATF का सदस्य होने के नाते, इस संस्था के कार्यों का सक्रिय समर्थन करता है। भारत FATF के दिशा-निर्देशों को लागू करने में गंभीर है और नेशनल फाइनेंशियल इंटेलिजेंस यूनिट (FIU) जैसी संस्थाओं के माध्यम से मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवादी वित्तपोषण से निपटने के लिए प्रयासरत है।

निष्कर्ष

FATF की भूमिका आज के वैश्विक वित्तीय परिदृश्य में अत्यधिक महत्वपूर्ण है। यह संगठन न केवल मनी लॉन्ड्रिंग का मुकाबला करता है, बल्कि यह देशों को वित्तीय स्थिरता बनाए रखने में मदद करता है। भविष्य में FATF की रणनीतियों और नीतियों से वैश्विक अर्थव्यवस्था पर सकारात्मक प्रभाव पड़ने की उम्मीद है, जिससे सभी देशों को अपने वित्तीय सिस्टम को सुरक्षित और मजबूत करने में सहयोग मिलेगा।

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